कठिन नहीं कोई भी काम, हर काम संभव है। मुश्किल लगे जो मुकाम, वह मुकाम संभव है - डॉ. पवनेश।

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डॉ. पवनेश की समालोचना पुस्तक: जयशंकर प्रसाद की कहानियों के नारी चरित्रों का सामाजिक­- सांस्कृतिक अध्ययन

जयशंकर प्रसाद की कहानियों के नारी चरित्रों का सामाजिक­- सांस्कृतिक अध्ययन (हिंदी शोध ­समालोचना संग्रह, 2014)          Jayshankar Prasad ki kahaniyon ke nari charitron ka samajik- saanskritik adhyayan           वर्ष 2014 में अविचल प्रकाशन, बिजनौर से प्रकाशित डॉ. पवनेश ठकुराठी की इस शोधपरक पुस्तक में मुंशी प्रेमचंद के समकालीन

डॉ. पवनेश का कविता संग्रह- नदी एक डायन थी

कविता संग्रह – नदी एक डायन थी ( Poetry Collection-Nadi Ek Dayan Thi )      साल 2013 में अल्मोड़ा किताब घर से प्रकाशित पवनेश ठकुराठी के इस हिंदी कविता संग्रह में कुल 47 कविताएँ संगृहीत हैं। ये कविताएँ 16,17 जून, 2013 को उत्तराखंड में आई भीषण प्राकृतिक आपदाओं पर केंद्रित हैं। ये कविताएँ प्रकृति

डॉ. पवनेश का कविता संग्रह- दो पेज की चिट्ठी में

कविता संग्रह – दो पेज की चिट्ठी में ( Poetry Collection- Do Page Ki Chiththi mai )      साल 2013 में अल्मोड़ा किताब घर से प्रकाशित पवनेश ठकुराठी के इस हिंदी कविता संग्रह में कुल 56 कविताएँ संगृहीत हैं। ये कविताएँ युवा मन की कविताएँ हैं, जो अपने समाज की विडंबनाओं को उजागर करने
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