рдХрдард┐рди рдирд╣реАрдВ рдХреЛрдИ рднреА рдХрд╛рдо, рд╣рд░ рдХрд╛рдо рд╕рдВрднрд╡ рд╣реИред рдореБрд╢реНрдХрд┐рд▓ рд▓рдЧреЗ рдЬреЛ рдореБрдХрд╛рдо, рд╡рд╣ рдореБрдХрд╛рдо рд╕рдВрднрд╡ рд╣реИ - рдбреЙ. рдкрд╡рдиреЗрд╢ред

рдЗрд╕ рдпреБрд╡рдХ рдиреЗ 20 рд╡рд░реНрд╖ рдХреА рдЙрдореНрд░ рдореЗрдВ рдмрдирд╛рдИ рдЖрда рдкреАрдврд╝реА рдХреА рд╡рдВрд╢рд╛рд╡рд▓реА

ललित तुलेरा ने आठ पीढ़ी की वंशावली महज बीस वर्ष की उम्र में बनाई      बागेश्वर जिले में गरूड़ ब्लॉक से करीब 30 किलोमीटर दूर पहाड़ों में बसा गांव ‘सलखन्यारी’ के युवा ललित तुलेरा ने अपनी आठ पीढ़ी की वंशावली बनाई है। वे अभी २२ साल के हैं। उनका यह कार्य दो साल पहले

рд▓реЛрдХ рд╕рдВрд╕реНрдХреГрддрд┐ рдХреЗ рдХреБрд╢рд▓ рдЪрд┐рддреЗрд░реЗ: рдмреНрд░рдЬреЗрдВрджреНрд░ рд▓рд╛рд▓ рд╕рд╛рд╣

जन्मदिन विशेष:  लोक संस्कृति के कुशल चितेरे: ब्रजेंद्र लाल साह         रंगकर्मी व रचनाकार ब्रजेंद्र लाल साह का जन्म 13 अक्टूबर, 1928 को अल्मोड़ा में हुआ था। आपने इलाहाबाद विश्वविद्यालय से उच्च शिक्षा ग्रहण की और विशेषकर हिंदी कविता, नाटक, कहानी, उपन्यास आदि विधाओं में अपनी लेखनी चलाई। शैलसुता, अष्टावक्र और गंगानाथ

рдХреБрдорд╛рдЙрдиреА рдХрд╡рд┐ рддрд╛рд░рд╛рд░рд╛рдо рдЖрд░реНрдп рдХреЗ рд▓реЛрдХрдкреНрд░рд┐рдп рдЧреАрдд

कवि ताराराम आर्य के लोकप्रिय गीत      7 जुलाई, 1925 को ओखलकांडा (नैनीताल) के गांव सुरंग में जन्मे जनकवि ताराराम आर्य का 98 वर्ष की उम्र में हल्द्वानी में निधन हो गया। कवि ताराराम आर्य की ‘सुंदर लोकगीतों का गुच्छा’ शीर्षक से कई छोटी-छोटी लोकगीतों की पुस्तिकाएँ प्रकाशित हैं।      वे अपनी रचनाओं

рджреАрд╡рд╛рд░реЗрдВ рдмреЛрд▓рддреА рд╣реИрдВ, рдЪрд┐рддреНрд░-5, рдХрд┐рддрд╛рдм рдкрдврд╝рддрд╛ рд▓рдбрд╝рдХрд╛

प्रोजेक्ट कायाकल्प, भाग-3, दीवारें बोलती हैं         रा० इ० का० नाई (अल्मोड़ा) में प्रोजेक्ट कायाकल्प के तीसरे भाग ‘दीवारें बोलती हैं’ के अंतर्गत विद्यालय की दीवारों में चित्रांकन, पेंटिंग व लेखन का कार्य किया गया। इस भाग को हिंदी प्रवक्ता डॉ. पवनेश ठकुराठी के दिशा-निर्देश में संपन्न किया गया। इस हेतु उन्हें

рдЪрд┐рддреНрд░ 3, рджреАрд╡рд╛рд░реЛрдВ рдкрд░ рдлреВрд▓, рдШрд╛рд╕, рдЬрд▓рд╛рд╢рдп, рдХрдорд▓, рдмрддреНрддрдЦ, рдордЫрд▓реА, рдкреЗрдбрд╝ рдЖрджрд┐ рдХрд╛ рдЪрд┐рддреНрд░рд╛рдВрдХрди

प्रोजेक्ट कायाकल्प, भाग-3, दीवारें बोलती हैं           रा० इ० का० नाई (अल्मोड़ा) में प्रोजेक्ट कायाकल्प के तीसरे भाग ‘दीवारें बोलती हैं’ के अंतर्गत विद्यालय की दीवारों में चित्रांकन, पेंटिंग व लेखन का कार्य किया गया। इस भाग को हिंदी प्रवक्ता डॉ. पवनेश ठकुराठी के दिशा-निर्देश में संपन्न किया गया। इस हेतु

рджреАрд╡рд╛рд░реЗрдВ рдмреЛрд▓рддреА рд╣реИрдВ, рдЪрд┐рддреНрд░-2 рдкреБрд╕реНрддрдХрд╛рд▓рдп рдХреА рджреАрд╡рд╛рд░реЛрдВ рдкрд░ рдлреВрд▓, рдШрд╛рд╕, рдореИрджрд╛рди, рдкрд╣рд╛рдбрд╝ рдХреЗ рдЪрд┐рддреНрд░

दीवारें बोलती हैं, चित्र-2 पुस्तकालय की दीवारों पर फूल, घास, मैदान, पहाड़ के चित्र         रा० इ० का० नाई (अल्मोड़ा) में प्रोजेक्ट कायाकल्प के तीसरे भाग ‘दीवारें बोलती हैं’ के अंतर्गत विद्यालय की दीवारों में चित्रांकन, पेंटिंग व लेखन का कार्य किया गया। इस भाग को हिंदी प्रवक्ता डॉ. पवनेश ठकुराठी के

рдЕрд▓реНрдореЛрдбрд╝рд╛ рдореЗрдВ рдЗрди рджрд┐рдиреЛрдВ рд▓рдЧрд╛ рд╣реБрдЖ рд╣реИ рдирдВрджрд╛рджреЗрд╡реА рдХрд╛ рдореЗрд▓рд╛: рджреЗрдЦрд┐рдП рдЖрдХрд░реНрд╖рдХ рддрд╕реНрд╡реАрд░реЗрдВ┬а

अल्मोड़ा में इन दिनों लगा हुआ है नंदादेवी का भव्य मेला          सांस्कृतिक नगरी अल्मोड़ा में इन दिनों माँ नंदा देवी का मेला आकर्षण का केंद्र बना हुआ है। लोग दूर-दराज से आकर मेले का आनंद ले रहे हैं और नंदादेवी मंदिर परिसर के आसपास लगे मेले में खूब खरीददारी कर रहे

рд░рд╛реж рдЗреж рдХрд╛реж рдирд╛рдИ рдореЗрдВ рдкреНрд░рд╡реЗрд╢реЛрддреНрд╕рд╡ рдХрд╛ рдЖрдпреЛрдЬрди

रा० इ० का० नाई में प्रवेशोत्सव का आयोजन          अल्मोड़ा, रा० इ० का० नाई, वि०खं० ताकुला में प्रवेशोत्सव का आयोजन किया गया। इस अवसर पर सर्वप्रथम प्रधानाचार्य व शिक्षक-शिक्षिकाओं द्वारा नव प्रवेशित छात्र-छात्राओं व अभिभावकों का स्वागत किया गया। कार्यक्रम की शुरुआत में विद्यालय की छात्राओं द्वारा स्वागत गीत की प्रस्तुति दी

рдкреНрд░реЛрдЬреЗрдХреНрдЯ рдХрд╛рдпрд╛рдХрд▓реНрдк, рджреАрд╡рд╛рд░реЗрдВ рдмреЛрд▓рддреА рд╣реИрдВ, рдкреБрд╕реНрддрдХрд╛рд▓рдп-рдмрд╛рд╣рд░реА рджреАрд╡рд╛рд░, рдЪрд┐рддреНрд░-1, рдХрд┐рддрд╛рдм рдкрдврд╝рддреА рд▓рдбрд╝рдХреА

प्रोजेक्ट कायाकल्प, भाग-3, दीवारें बोलती हैं         रा० इ० का० नाई (अल्मोड़ा) में प्रोजेक्ट कायाकल्प के तीसरे भाग ‘दीवारें बोलती हैं’ के अंतर्गत विद्यालय की दीवारों में चित्रांकन, पेंटिंग व लेखन का कार्य किया गया। इस भाग को हिंदी प्रवक्ता डॉ. पवनेश ठकुराठी के दिशा-निर्देश में संपन्न किया गया। इस हेतु उन्हें

рдкрд┐рдереМрд░рд╛рдЧрдврд╝ рдХреЗ рдмрд╕реЛреЬ (рдЕрд▓рдЧреЬрд╛) рдЧрд╛рдБрд╡ рдореЗрдВ рдЖрдпреЛрдЬрд┐рдд рд╣рд┐рд▓рдЬрд╛рддреНрд░рд╛ рдХреЗ рдЦреВрдмрд╕реВрд░рдд рджреГрд╢реНрдп

पिथौरागढ़ के बसोड़ (अलगड़ा) गाँव में आयोजित हिलजात्रा के खूबसूरत दृश्य आजकल पिथौरागढ़ में लोकोत्सव ‘हिलजात्रा’ की धूम मची हुई है। देखिए जनपद के बसोड़ (अलगड़ा) गाँव में हुई हिलजात्रा की कुछ तस्वीरें- तस्वीरें  साभार: City Pithoragarh
error: Content is protected !!